आपातकाल कितने प्रकार के होते है?

(A) दो प्रकार के
(B) तीन प्रकार के
(C) चार प्रकार के
(D) पांच प्रकार के

Answer : तीन प्रकार के

Explanation : आपातकाल तीन प्रकार के होते हैं– राष्ट्रीय आपात (अनुच्छेद 352), राष्ट्रपति शासन अथवा राज्य में आपात स्थिति (अनुच्छेद 356) और वित्तीय आपात (अनुच्छेद 360)। 44वें संशोधन अधिनियम से पहले आंतरिक अशांति के आधार पर वर्ष 1975 में आपात काल की घोषणा का दुरुपयोग किया गया। अत: वर्ष 1978 में इस शब्द की जगह सशस्त्र विद्रोह का उपयोग संविधान में कर दिया गया। 44वें संविधान संशोधन अधिनियम, 1978 से राष्ट्रपति आपात काल की घोषणा तभी कर सकता है जब मंत्रिमंडल उसे लिखित रूप् से सूचित करे और ऐसी घोषणा को संसद के दोनों सदनों द्वारा एक माह के अंदर उपस्थित और मतदान करने वालों का 2/3 बहुमत तथा कुल सदस्य संख्या के बहुमत पारित करना होगा, अन्यथा: यह स्वत: ही समाप्त हो जायेगी।

संविधान के अनुच्छेद 356 के तहत यह प्रावधान है कि राष्ट्रपति को संबंधित राज्य के राज्यपाल से प्रतिवेदन मिलने पर या अन्यथा यह समाधान हो जाए कि ऐसी स्थिति उत्पंन हो गई है कि राज्य का शासन संविधान के उपबंधों के आधार पर नहीं चलाया जा रहा है, तो वह राज्य में राष्ट्रपति शासन की घोषणा कर सकता है। ऐसी घोषणा का अनुमोदन संसद द्वारा 2 माह के अंदर होना आवश्यक है। वही अनुच्छेद 360 के अनुसार, यह प्रावधान है कि यदि राष्ट्रपति को यह समाधान हो जाता है कि भारत या उसके राज्य क्षेत्र के किसी भाग में वित्तीय संकट हो तो वह वित्तीय आपात की घोषणा कर सकता है।
Tags : आपातकाल राजव्यवस्था प्रश्नोत्तरी
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Web Title : Aapatkal Kitne Prakar Ke Hote Hain