आईपीसी की धारा 52 क्या है- IPC Section 52 in Hindi
What is Section 52 of Indian Penal Code, 1860
January 17, 2019
भारतीय दंड संहिता 1860 की धारा 52 के अनुसार, ‘सद्भावपूर्वक’ – कोई बात ‘सद्भावपूर्वक’ की गई या विश्वास की गई नहीं कही जाती जो सम्यक् सतर्कता और ध्यान के बिना की गई या विश्वास की गई हो।
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रमजान के 30 रोजों के बाद चांद देखकर ईद मनाई जाती है। इसे लोग ईद उल-फितर (Eid Ul Fitr) भी कहते हैं। इस्लामिक कैलेंडर में दो ईद मनाई जाती हैं। दूसरी ईद जो ईद-उल-जुहा या बकरीद के नाम से भी जानी जाती है। ईद-उल-फित्र का यह त्योहार रमजान का चांद डूबने और ईद का चांद नजर आने पर इस्लामिक महीने की पहली तारीख को मनाया जाता है। यह मुस्लिमों का सबसे बड़ा त्योहार होता है। जिसमें लोग मस्ज़िद में जाकर नमाज़ अदा करते है और एक-दूसरे को गले मिल ईद की मुबारकबाद (Eid Mubarak) देते है।
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मीठी ई ...read more
जप करना भारतीय उपासना पद्धति का एक अंग है जिसके लिए एक माला की आवश्यकता होती है। जो सामान्यत: तुलसी, रुद्राक्ष, स्फटिक, मोती आदि से बनी होती है। जिसमें रुद्राक्ष की माल को जप के लिए सबसे अच्छा माना गया है। लेकिन सवाल यह है कि माला के दाने 108 ही क्यों होते हैं, इससे कम या ज्यादा क्यों नहीं होते? माला में 108 मनके यानि दाने के पीछे वैज्ञानिक और धार्मिक दोनों ही कारण विद्यमान हैं। मान्यता है कि निर्दिष्ट संख्या से कम या ज्यादा होने पर जप निष्फल जाता है।
माला में 108 मनके के बारे में चूड़ामणि उपन ...read more
पैंगोलिन (Pangolin) के शरीर पर केराटिन के बने शल्क होते हैं, जिससे यह अन्य प्राणियों से अपनी रक्षा करता है। विश्व भर में पैंगोलिन की सात प्रजातियां पाई जाती है। इसके डायनासोर का वंशज माना जाता हैं, इसको डायनासोर का वंशज माना जाता हैं, क्योंकि इसकी हड्डियों का आकार और बनावट डायनासोर से मिलती है। यह जीव आकार में छोटा होता है। इस जीव के दांत नहीं होते हैं, जिस कारण यह अपनी जिह्रवा से शिकार करता है। इसकी जिह्रवा चींटीखोरों की तरह होती है, जिससे यह चींटी व दीमक खाने में सक्षम है और यही इसका मुख्य आहा ...read more
ई विधानसभा का अर्थ विधानसभा के सभी रिकॉर्डों को डिजिटल करना है। जिससे पेपर प्रिंटआउट पर होने वाले करोड़ों रूपये की बचत हो सके। हिमाचल प्रदेश विधानसभा देश की सबसे पहली ई-विधान प्रणाली लागू करने वाली पेपरलैस विधानसभा बन चुकी है। इसके बाद केरल राज्य विधानसभा द्वारा 17 मई, 2019 को ई-विधान को लॉच किया गया, जो सभी रिकॉर्डों को डिजिटल बनाने की पहल है। परियोजना का पहला चरण 14 माह में पूरा होने की उम्मीद है। इस परियोजना पर लगभग रु 40 करोड़ खर्च होने की उम्मीद है। इस परियोजना के पूरी हो जाने से सभी विधानस ...read more