मात्रकों की अंतर्राष्ट्रीय पद्धति कब लागू हुआ?

(A) 1 अप्रैल, 1957
(B) 1 मार्च, 1960
(C) 1 अप्रैल, 1965
(D) 1 दिसंबर, 1971

Answer : 1 अप्रैल, 1957

Explanation : भारत में मात्रकों की अंतर्राष्ट्रीय पद्धति 1 अप्रैल, 1957 को लागू हुई। विज्ञान में मात्रकों की मुख्यत: दो प्रणालियाँ 'फुट-पाउंड-सेकंड' (FPS) प्रणाली तथा 'सेंटीमीटर-ग्राम-सेकंड' (CGS) प्रणाली का प्रयोग होता रहा है, परंतु विज्ञान एवं तकनीकी की अनेक आवश्यकताओं एवं सुविधाओं को ध्यान में रखते हुए मात्रकों की आधुनिक प्रणाली का विकास प्रथम चरण में 'मीटर-किलोग्राम-सेकंड' (MKS) प्रणाली के रूप में हुआ, जिसके बाद यह परिष्कृत होकर 'मीटर-किलोग्राम-सेकंड-ऐम्पियर' (MKSA) प्रणाली बनी, जो वर्तमान में मात्रकों की अंतर्राष्ट्रीय प्रणाली (SI System) कहलाती है। इसे 'माप व तौल' के अंतर्राष्ट्रीय सम्मेलन (General Conference on Weight and Measurement) में सन् 1971 में अनुमोदित किया गया था। इस प्रणाली में सात मूल राशियाँ । तथा इनके सात मूल मात्रकों के अतिरिक्त दो पूरक राशियाँ (Supplementary Quantities) - तथा इनके दो पूरक मात्रक भी हैं। इस प्रणाली के अंतर्गत लिए गए मात्रक एस.आई. मात्रक कहलाते हैं।
Useful for : UPSC, State PSC, IBPS, SSC, Railway, NDA, Police Exams
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Web Title : Matrak Ki Antarrashtriya Paddhati Kab Lagu Hua